ब्रिटिश संसद में हुई भारतीय किसान आंदोलन पर बहस तो विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा, ब्रिटेन में बढ़ रहे नस्लवाद पर चुप नहीं बैठेंगे हम
चिरौरी न्यूज़
नई दिल्ली: भारत में तक़रीबन चार महीने से चल रहे किसान आंदोलन पर आज ब्रिटेन की संसद में चर्चा हुई तो भारत के विदेश मंत्री ने भी जवाबी हमला बोल दिया। भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने आज राज्यसभा में ब्रिटेन में बढ़ रहे नस्लवाद के मुद्दे को उठाया।
जयशंकर के द्वारा ब्रिटेन में नस्लवाद के बढ़ने से सम्बंधित मुद्दा उठाने के पीछे ब्रिटेन को जवाब देना बताया जारहा है। विदेश ने ब्रिटेन में रश्मि सामंत के साथ नस्लीय भेदभाव के आरोपों पर सोमवार को राज्यसभा में कहा कि भारत सरकार घटनाक्रम पर नजर बनाये हुए है। अगर जरूरत पड़ी तो हम भी ‘इस’ मुद्दे को मजबूती से उठायेंगे।
मालूम हो कि ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी स्टूडेंट यूनियन में पहली भारतीय महिला अध्यक्ष बन कर छात्रा रश्मि सामंत ने इतिहास रचा था। लेकिन, रश्मि सामंत को विरोध के कारण ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी स्टूडेंट यूनियन से इस्तीफा देना पड़ा था। सदन में विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि हम इन घटनाओं की बहुत बारीकी से निगरानी करेंगे। आवश्यकता पड़ने पर हम इसे बढ़ायेंगे और नस्लवाद और असहिष्णुताके के खिलाफ लड़ाई को आगे बढ़ायेंगे।
साथ ही कहा कि महात्मा गांधी की भूमि से होने के कारण हम कभी नस्लवाद से आंखें नहीं चुरा सकते। खासतौर से तब, जब यह किसी ऐसे देश में हो, जहां हमारे लोग बड़ी संख्या में रहते हैं। हमारे यूके के साथ मजबूत संबंध हैं। आवश्यकता पड़ने पर हम पूरी स्पष्टवादिता से मुद्दे को उठायेंगे।
ऑक्सफोर्ड स्टूडेंट यूनियन के अध्यक्ष पद के लिए हुए मतदान में रश्मि सामंत को कुल 3708 मतों में से 1966 मत मिले थे। चुनाव जीतने के बाद साल 2017 में सोशल मीडिया में किये गये पोस्ट को ‘नस्लभेदी’, ‘साम्य विरोधी’ और ‘ट्रांसफोबिक’ बताया गया जिसके कारण रश्मि को इस्तीफ़ा देना पड़ा।