पद्मश्री से सम्मानित हिंदी और मैथिली की जानी मानी साहित्यकार डॉ. उषाकिरण खां नहीं रहीं

Padmashree awardee and renowned Hindi and Maithili litterateur Dr. Ushakiran Khan is no more
(Pic: twitter)

चिरौरी न्यूज

नई दिल्ली: पद्मश्री से सम्मानित हिंदी और मैथिली साहित्य की सम्मानित और सुप्रसिद्ध लेखिका डॉ उषाकिरण खां का लंबी बीमारी के बाद आज निधन हो गया। वह पिछले कुछ दिनों से बीमार और अस्पताल में भर्ती थीं।

भामती, सृजनहार, हसीना मंज़िल, घर से घर तक जैसी प्रमुख कृतियों के लेखक उषाकिरण खां के निधन से हिंदी और मैथिली साहित्य जगत में शोक की लहर है।

मैथिली भाषा में साहित्य लेखन के लिए डॉ खां को भारत सरकार का साहित्य अकादमी पुरस्कार मिला था। उन्हें उत्तर प्रदेश हिंदी संस्थान के सर्वोच्च साहित्य सम्मान भारत-भारती से भी पुरस्कृत किया गया था।

पटना कॉलेज में प्राचीन भारतीय इतिहास और पुरातत्व विज्ञान की विभागाध्यक्ष रह चुकी उषाकिरण की अब तक पचास से अधिक पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं जिनमें उपन्यास, कहानी, नाटक और बाल-साहित्य जैसी विविध विधाएं शामिल हैं।

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