अब सीएससी के जरिए दूर-दराज के गांवों में उपलब्ध होगा पतंजलि दुग्धामृत पशुआहार

Patanjali Dugdhamrit animal feed will now be available in remote villages through CSCचिरौरी न्यूज

नई दिल्ली: नई दिल्ली में आज पतंजलि ग्रामोद्योग (न्यास) और सीएससी एसपीवी के बीच एक समझौते पर हस्ताक्षर हुए। समझौते के मुताबिक, देश के कोने-कोने में मौजूद साढ़े 5 लाख से अधिक केंद्रों के जरिए पतंजलि के संतुलित पशु आहार उत्पाद,फीड सप्लीमेंट्स एवं आयुर्वेदिक पशु औषधियों को न्यूनतम दरों पर देश के प्रत्येक किसानों तक उपलब्ध कराए जाएंगे। कार्यक्रम के दौरान सीएससी एसपीवी के प्रबंध निदेशक श्री संजय राकेश और पतंजलि ग्रामोद्योग (न्यास)- हरिद्वार के महामंत्री डॉ. यशदेव शास्त्री जी उपस्थित थे।

पशुपालन भारतीय कृषि की रीढ़ रहा है। भारत में खेतीबाड़ी के साथ पशुपालन सहायक व्यवसाय के रूप में पुराने समय से ही ग्रामीणों और किसानों की आजीविका का एक जरूरी हिस्सा है। ग्रामीण अंचल में पशुओं का लालन-पालन खेतीबाड़ी के अभिन्न हिस्से के तौर पर मौजूद है। संतुलित पशु आहार के जरिए पशु को आवश्यक पोषक तत्वों-प्रोटीन, वसा, कार्बोहाइड्रेट, खनिज, लवण विटामिन का उचित अनुपात उपलब्ध होनी चाहिए जो पशु की स्वास्थ्य, दुग्ध उत्पादन, प्रजनन आदि बनाए रखे। संतुलित पशु आहार के अभाव में पशु स्वास्थ्य और दुग्ध उत्पादन में कमी आती है जिसका खामियाजा पशुपालकों और किसानों को उठाना पड़ता है। पतंजलि दुग्धामृत पशुआहार इन्हीं जरूरतों को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है।

सीएससी भागीदारी के बारे में विस्तार से बताते हुए, सीएससी एसपीवी के प्रबंध निदेशक और सीईओ, श्री संजय राकेश ने कहा: “सीएससी ने हमेशा विभिन्न पहलों के जरिए ग्रामीण क्षेत्रों में नागरिकों के जीवन को बेहतर बनाने का प्रयास किया है। किसान और कृषि हमारे पहल के अभिन्न अंग हैं। देश के दूर-दराज इलाकों में मौजूद सीएससी के विशाल नेटवर्क की बदौलत पहले से ही हम किसानों को टेली-परामर्श, फसल बीमा, ई-पशु चिकित्सा, किसान क्रेडिट कार्ड और पीएम किसान योजनाओं के जरिए विभिन्न सेवाएं प्रदान कर रहे हैं।  पतंजलि ग्रामोद्योग (न्यास) से समझौते के बाद हमारे वीएलई देश भर के पशुपालकों और किसानों को संतुलित पशु आहार उत्पाद उपलब्ध कराने में सक्षम होंगे।”

इस अवसर पर पतंजलि ग्रामोद्योग (न्यास) के महामंत्री डॉ।  यशदेव शास्त्री जी ने कहा, “पतंजलि के यूरिया मुक्त, शुद्ध सात्विक उत्पाद पशुओं की उत्पादन क्षमता में वृद्धि करने में मददगार हैं। ये उत्पाद भारतीय मानकों (BIS) के अनुसार निर्मित हैं। इन उत्पादों की सहायता से देश के पशु पालकों की आय बढ़ेगी व देश के ग्रामीणों की आर्थिक उन्नति के साथ साथ देश को आर्थिक महाशक्ति बनाने का हमारा संकल्प साकार होगा।”

सीएससी और पतंजलि ग्रामोद्योग के बीच इस समझौते के बाद किसानों की आर्थिक समृद्धि का मार्ग प्रशस्त होगा। देश के युवाओं के लिए जहां एक ओर रोजगार सुनिश्चित होगा, वहीं पशुओं को यूरिया रहित आहार और आम-जन को शुद्ध दूध की आपूर्ति भी सुनिश्चित होगी।

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